उत्तराखंड में लिव-इन पार्टनर की निर्मम हत्या करने वाले आरोपी का अवैध मकान जमींदोज, प्रशासन ने दी कड़ी चेतावनी

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उत्तराखंड के ऊधम सिंह नगर ज़िले में एक जघन्य हत्या के आरोपी मुश्ताक अहमद के अवैध निर्माण पर प्रशासन ने बुलडोजर चला दिया। सितारगंज के गौरीखेड़ा गांव में अनुसूचित जनजाति की जमीन पर खड़े इस गैरकानूनी मकान को प्रशासन और पुलिस की संयुक्त कार्रवाई में ध्वस्त किया गया। यह मकान आरोपी के पिता अली अहमद द्वारा कब्जा कर बनाया गया था।

मुश्ताक अहमद पर आरोप है कि उसने अपनी लिव-इन पार्टनर पूजा विश्वास की बेरहमी से हत्या की और उनके शव के टुकड़े कर खटीमा की नदन्ना नहर में फेंक दिए। पूजा मूल रूप से नानकमत्ता (ऊधम सिंह नगर) की रहने वाली थीं और गुरुग्राम में कार्यरत थीं।

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आरोप है कि मुश्ताक ने खुद को हिंदू बताकर पूजा को प्रेमजाल में फंसाया और बाद में दोनों लिव-इन में रहने लगे। कुछ समय बाद मुश्ताक सितारगंज लौट आया और चुपचाप दूसरी शादी कर ली। नवंबर 2024 में जब पूजा को इस बात की जानकारी हुई तो वह गुरुग्राम से सितारगंज पहुंचीं और विरोध किया। इसके बाद आरोपी ने उन्हें अपनी बहन के घर खटीमा ले जाकर 16 नवंबर को उनकी हत्या कर दी।

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पूजा की बहन ने 19 दिसंबर को गुरुग्राम में गुमशुदगी की रिपोर्ट दर्ज कराई। हाल ही में गुरुग्राम पुलिस ने आरोपी को हिरासत में लिया, जहां पूछताछ में उसने अपराध स्वीकार कर लिया और मृतका का धड़ नहर से बरामद कर लिया गया। हालांकि, सिर अब भी लापता है।

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इधर, थारू समुदाय के नारायण सिंह ने प्रशासन से शिकायत की थी कि आरोपी के पिता ने उनकी जमीन पर अवैध कब्जा कर निर्माण कराया है। जांच में यह सही पाया गया कि भूमि अनुसूचित जनजाति के व्यक्ति की है और निर्माण अवैध है। इसके बाद प्रशासन ने नोटिस जारी कर अवैध कब्जा हटाने की कार्रवाई की। वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक मणिकांत मिश्रा ने मकान ध्वस्तीकरण की पुष्टि करते हुए कहा कि अपराधियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई जारी रहेगी।